Saturday, 31 October 2015

देवी लक्ष्मी की स्थिरता के लिए कुछ विशेष उपाय

देवी लक्ष्मी की स्थिरता के लिए कुछ विशेष उपाय 

दीपावली पर प्रत्येक इंसान अपने घर/व्यापार स्थल आदि पर देवी लक्ष्मी की स्थिरता के लिए उपाय करते है यदि देवी लक्ष्मी को आकर्षित करने वाली वस्तुएं पूर्ण विधान के द्वारा अपने घर में स्थापित की जाएँ तो आपके घर या व्यापर स्थल पर देवी लक्ष्मी स्थायी रूप से निवास करेंगी जिसके कारण आपका घर, जीवन सभी प्रकार की सुख सुविधाओं से परिपूर्ण होगा। आइये जानते है देवी लक्ष्मी को आकर्षित करने वाली वस्तुएं कौन कौन सी है। 

लक्ष्मी जी को आकर्षित करने वाली वस्तुएं:-
1.     हत्था जोड़ी
2.     सियार सिंगी की जोड़ी 
3.     बिल्ली की जेर
4.     दक्षिणावर्ती शंख
5.     मोती शंख
6.     पारद शिवलिंग
7.     श्वेतार्क गणपति
8.     कमलगट्टा
9.     कमल पुष्प
10. सम्पूर्ण श्री यंत्र
11. कनकधारा यंत्र
12. बिल्व
13. स्फटिक माला
14. काली हल्दी
15. लाल गुंजा
16. एकाक्षी नारियल
17. गोमती चक्र 
18. काले चावल 
19. कछुए का चिन्ह
20. साबुत धनिया 
21. साबुत हल्दी की गाँठ  

इन वस्तुओ को आप किसी भी विशेष मुहूर्त (शुक्ल पक्ष का शुक्रवार, होली, धनतेरसदिवाली, अक्षय तृतीया, गुरुपुष्य योग आदिमें लेकर पूर्ण विधान के द्वारा अभिमंत्रित करवा कर अपने घर की तिजोरी या व्यापर स्थल के गल्ले में स्थपित करवाये और फिर देखें इनका चमत्कार। 
नोट : उपरोक्त में से कुछ वस्तुऐ अकेली नहीं राखी जाती, जैसे कि हाथा जोड़ी, सियार सींगी या गीदड़ सिंगी, बिल्ली की जेर/नाल, दक्षिणावर्ती शंख आदि। इनके साथ लौंग, हरी इलायची, संतरे रंग का सिन्दूर, चांदी का सिक्का आदि अवश्य रखना चाहिये। इनके मन्त्र जाप भी अनिवार्य है। 
सावधानियाँ : परिवार में सूतक, पातक या किसी भी ग्रहण के पश्चात् साथ में रखा सामान बदल दे और पुराने सामान को जलप्रवाह कर दे।   
अन्य उपाय
देवी लक्ष्मी की पूजा में से बचे हुए चावलों में से 21 दाने साबुत चावल के लेकर लाल कपडे में बाँध कर सदा अपने पास रखें। 
नवरात्रि के दिनों में अष्टमी या नवमी  के दिन कन्या पूजन के पश्चात् सबसे बड़ी उम्र की कन्या से जयन्ती/खेत्री के कुछ अंश अपनी गोदी में ले और उन्हें अपनी तिज़ोरी, पर्स या व्यापार स्थल के गल्ले में रखें, और साथ ही कलश के जल का छींटा कन्या से अपने पुरे घर और व्यापर स्थल में लगवाये और बच जल किसी पौधे में डाल दें। 
किसी भी गर्भवती महिला की यदि प्रथम संतान पुत्र हो तो उसकी नाडू को सदा अपने पास संभाल कर रखें,  घर में आर्थिक समस्या होगी। 
पुत्री के विवाह के पश्चात् जब भी वो मायके रहने या मिलने आये तो विशेषकर बुधवार के दिन अपनी पुत्री को विदा करें और ही अपनी विवाहित कन्या को आचार, सुई, ताला-चाबी आदि दे। इससे आर्थिक समस्या आती है और परिवार में कलेश भी होता है। अतः भूलकर भी ऐसा करे। 





















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